केन्द्र सरकार ने गांवो को ओडीएफ बनाने की पहल शुरू
की है। जल्शक्ति मंत्रालय ने 25 अगस्त को “सुजलाम
अभियान” की शुरूआत की। यह 100 दिवसीय अभियान ‘आजादी का अमृत महोत्सव‘
समारोह के अंतर्गत शुरू किया गया
हैं। इसका मुख्य उद्देश्य देश को खुले में शौच मुक्त (ओडीएफ) गाँव बनाना है।
अभियान की मुख्य विशेषताएँ
अभियान मुख्य रूप से अपशिष्ट जल के प्रबंधन में मदद
करेगा। सुजलाम के अंतर्गत, गांवों में ग्रेवाटर प्रबंधन के
लिए वांछित बुनियादी ढांचे जैसे सोक-पिट के निर्माण पर भी काम किया जाएगा। इसका
लक्ष्य देशभर में लगभग 10 लाख सोक-पिट बनाने का हैं। इससे
ज्यादा से ज्यादा गावों को ओडीएफ प्लस गांवों में परिवर्तित किया जा सकेगा।
आई ई-सी और सामुदायिक लामबंदी के माध्यम से शौचालयों
की मरम्मत पर भी काम किया जाएगा। इस अभियान से यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि
सम्बद्ध गाँव के सभी नए उभरते परिवारों के पास शौचालय की सुविधा हो।
ग्रेवाटर का अर्थ
बिना मल संदूषण के धाराओं से उत्पन्न होने वाला, घरेलू अपशिष्ट जल ही ग्रेवाटर कहलाता हैं। ग्रेवाटर के
मुख्य स्रोतों में शावर, सिंक, स्नान, डिशवॉशर और वाशिंग मशीन शामिल हैं।
क्या हैं ओडीएफ?
स्वच्छ भारत अभियान की शुरूआत प्रधानमंत्री नरेन्द्र
मोदी द्वारा 2 अक्टूबर 2014 को किया गया था। इसी अभियान के तहत ‘ओपन डौफिकेशन फ्री‘
की घोष्णा की गयी थी। ओडीएफ (ODF) का अर्थ हैं ‘खुले में शौच मुक्त‘। इसका मुख्य उद्देशय,
सम्पूर्ण देश को स्वच्छ तथा
गंदगीमुक्त करना हैं।