भारत की पहली पहियों वाली कोरोना टेस्टिंग लैब हुई शुरू

देश में पहली पहियों पर चलने वाली कोरोना टेस्टिंग लैब बनकर तैयार हो गयी है। ये उन दूर-दराज़ इलाकों में जा कर भी टेस्टिंग कर पायेगी जहाँ स्वास्थ्य संम्बधी सेवाओं की पहुंच सीमित है। इस आई लैब के ज़रिये एक दिन में 25 आरटी-पीसीआर टेस्ट और लगभग 200-300 एलाइजा टेस्ट किये जा सकते हैं। इस लैब में टीबी और एचआईवी जांच की सुविधा भी उपलब्ध है, जो सरकारी दरों पर हो सकेंगी।
इस आई लैब की फंडिंग विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी मंत्रालय द्वारा कोविड-19 प्रोग्राम के तहत की गयी है। भारत में इस वैन की शुरुआत तब हुई है जब कोरोना के मामले लगातार आसमान छू रहें हैं।  ऐसे में ये वैन भारत में टेस्टिंग की रफ़्तार को तेज़ करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।

रिकॉर्ड आठ दिन में तैयार हो गयी कोरोना टेस्टिंग वैन।

केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री डॉ हर्षवर्धन ने बताया कि आंध्र प्रदेश मेड-टेक ज़ोन (AMTZ) टीम ने डीबीटी कि सहायता से रिकॉर्ड आठ दिन में इस आई-लैब को तैयार कर लिया। AMTZ एशिया का पहला मेडिकल इक्विपमेंट मैन्युफैक्चरिंग इकोसिस्टम है जो चिकित्सा प्रौद्योगिकी के लिए समर्पित है और जिसे विभिन्न मंत्रालयों से समर्थन प्राप्त है।

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Dr. Kirti Sisodhia

Content Writer

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