हौंसले बुलंद हो तो हर मुश्किले आसान हो जाती हैं। इसी बात
को साबित कर दिखाया हैं छत्तीसगढ़ के चित्रसेन साहू ने। डबल लेग एंप्यूटी
पर्वतारोही, चित्रसेन साहू ने माउंट एल्ब्रस पर इतिहास रच दिया हैं। चित्रसेन ने यूरोप
और रूस की सबसे ऊंची पर्वत चोटियों में से एक माउंट एल्ब्रस पर तिरंगा फहरा कर एक राष्ट्र
रिकॉर्ड दर्ज किया है। यह पर्वत रूस में स्थित है जिसकी ऊंचाई 5,642 मीटर (18510 फीट) है। द्विपक्षीय एंप्यूटी साहू माउंट एल्ब्रस
को फतह करने वाले भारत के पहले व्यक्ति हैं।
पहले भी बनाया रिकॉर्ड
यह पहली बार नही हैं जब चित्रसेन ने कोई रिकॉर्ड बनाया हो।
इसके पहले भी चित्रसेन किलिमंजारो पर्वत
और कोठियारथ पर्वत पर विजय प्राप्त कर चुके हैं। माउंट किलिमंजारो अफ्रीका
महाद्वीप की सबसे ऊंची चोटी है और माउंट कोथियारथ ऑस्ट्रेलिया महाद्वीप का सबसे
ऊंचा पर्वत है। चित्रसेन अलग-अलग महाद्वीपों की तीन प्रमुख चोटियों को फतह करने
वाले एकमात्र भारतीय बन गए हैं।
डबल लेग एंप्यूटी होना बहुत बड़ी चुनौती
चित्रसेन कहते हैं की उनके दोनों पैर आर्टिफिशियल होने के
कारण उनहें पर्वत चढ़ने में काफी कठिनाई होती थी। और यह अपने आप में एक बहुत बड़ी
चुनौती थी जिसे चित्रसेन ने स्वीकार कर लिया है। उनका मानना हैं कि जीवन एक
पहाड़ की तरह है। सुख, दुख,
उतार-चढ़ाव सब जीवन का हिस्सा हैं। और इंसान को हमेशा आगे
बढ़ना सीखना होगा। यदि हम सकारात्मक सोच के साथ आगे बढ़ते हैं और किसी भी समस्या
के समाधान के बारे में सोचते हैं, तो समाधान निश्चित रूप से संभव है।
चित्रसेन एक राष्ट्रीय व्हीलचेयर बास्केटबॉल खिलाड़ी और
राष्ट्रीय पैरा स्वीमर भी हैं। जल और थल में अपने उंदा प्रदर्शन का वर्चस्व
स्थापित करने के बाद अब वह अपनी जीत के ध्वज को पर्वत श्रिंख्लाओं में लहरा रहे
हैं। मन की विक्लांगता की बेडी तोड़ते हुए वह सात महाद्वीपों की चोटियों पर तिरंगा
फहराना चाहते हैं।