Asian weightlifting championships में बिंदियारानी को रजत पदक, भारत के लिए बड़ी उपलब्धि!



राष्ट्रमंडल खेलों की रजत पदक विजेता भारोत्तोलक बिंदियारानी देवी ने एशियन चैंपिनशिप में भारत को रजत पदक दिलाया। उन्होंने कोरिया के जिंजू में हो रहे एशियाई चैंपियनशिप में रजत पदक अपने नाम किया। मणिपुर की बिंदियारानी ने कुल 194 किग्रा (83 + 111 किग्रा) उठाकर दूसरे नंबर का स्थान हासिल किया है।

86 किग्रा का रहा व्यक्तिगत श्रेष्ठ प्रदर्शन

बिंदियारानी ने स्नैच में पहले दो प्रयासों में 80 किग्रा और 83 किग्रा भार उठाया, जिसके बाद उन्होंने 85 किग्रा भार उठाने का प्रयास किया पर उसमें वो असफल रहीं। बिंदियारानी का व्यक्तिगत श्रेष्ठ प्रदर्शन 86 किग्रा का रहा है। भारतीय खिलाड़ी ने क्लीन एवं जर्क में इसकी भरपाई कर ली और दूसरा सर्वाधिक भार उठाकर रजत पदक भारत के नाम किया। चीन ताइपे की चेन गुआन लिंग ने 204 किग्रा (90 +114) के साथ स्वर्ण पदक जबकि वियतनाम की वो थी क्वान्ह नहू (88 + 104 किग्रा) ने कांस्य पदक जीता।

क्लीन एंड जर्क में सुधरा बिंदियारानी का प्रदर्शन

स्नैच के बाद बिंदियारानी चौथे नंबर पर थीं, लेकिन फिर उन्होंने क्लीन एंड जर्क में दूसरा श्रेष्ठ भार उठाकर जीत का परचम लहराया। इसके बाद उन्होंने अपने कुल स्कोर में सुधार के लिए 115 किग्रा भार उठाने का प्रयास किया। बता दें कि पिछले साल बर्मिंघम राष्ट्रमंडल खेलों में उन्होंने 116 किग्रा का भार उठाया था। 24 साल की इस खिलाड़ी ने चयन ट्रायल से पहले चोटिल हो जाने के कारण वापस 55 किग्रा भारवर्ग का हिस्सा बनने का फैसला किया। उन्होंने इससे पहले 59 किग्रा में भाग लेना शुरू किया था जोकि पेरिस ओलंपिक का हिस्सा है। बिंदियारानी ने पिछले साल विश्व चैंपियनशिप में 59 किग्रा भार वर्ग में भाग लिया था जिसमें वे 25वें नंबर पर थीं।

ओलंपिक के लिए जरूरी थी उनकी भागीदारी

पेरिस 2024 ओलंपिक क्वालिफिकेशन के नियमों के अनुसार किसी भारोत्तोलक के लिए 2023 विश्व चैंपियनशिप और 2024 विश्वकप में भाग लेना जरूरी है, यही वजह है कि टूर्नामेंट से पहले मुख्य प्रशिक्षक विजय शर्मा ने इस चैंपियनशिप में सिर्फ बिंदियारानी की भागीदारी को लेकर जोर दिया था।

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Dr. Kirti Sisodhia

Content Writer

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